सजदा से करबला को बंदगी मिल गई
सबर से उम्मत को जिंदगी मिल गई
एक चमन फातिमा का गुज़रा
मगर सारे इस्लाम को जिंदगी मिल गई.
जिसने अपनी इच्छाओं पर काबू पा लिया,
उस मनुष्य ने जीवन के दुखों पर काबू पा लिया..!!
दो मुलाकात क्या हुई हमारी तुम्हारी,निगरानी में सारा शहर लग गया।
Kitnaa khouf hota hai shaam ke andheroo mein,
Poonch un parindoo se jin ke ghar nahi hote.
उम्मीद ऐसी हो जो मंजिल तक ले जाये,
मंजिल ऐसी ही जो जीना सिखलाये,
जीना ऐसा हो जो रिश्तों की कदर करे,
रिश्ते ऐसे हों जो याद करने को मजबूर करें।