रोज़ इक ताज़ा शेऱ कहां तक लिखूं तेरे लिए,
तुझमें तो रोज़ ही एक नयी बात हुआ करती है…
खूबसूरती से धोका न खाइये जनाब…
तलवार कितनी भी खूबसूरत क्यों न हो…
मांगती तो खून ही हे…
ऐसा लगता है, हर इम्तिहाँ के लिए,
किसी ने जिन्दगी को हमारा पता दे दिया है
इंटरव्यू लेने वाले ने पूछा: तुम्हारा नाम क्या है...???आवेदक: विजय दीनानाथ चौहान...!!!इंटरव्यू लेने वाला: लेकिन फॉर्म में तो तुमने अपना नाम वीरेन्द्र सिंह लिखा है?आवेदक: फिर क्यों स्वाद ले रहे हो...?
तरस जाओगे हमारे मुँह से सुनने को एक लव्ज़
प्यार की बात क्या, हम शिकायत भी ना करेंगे…