अपनी आँखो मे मेरा नाम,
लिख दो हर रोज तुम अपना,
दिल मेरे नाम कर दो !
कभी बैठा के सामने पूछेंगे तेरी आँखो से,
किसने सिखाया है इन्हें हर दिल में उतर जाना !
कैद खाने है बिन सलाखो के,
कुछ यूँ चर्चे है तुम्हारी आँखो के !
जो सूरुर है तेरी आँखों में वो बात कहां मैखाने में,
बस तू मिल जाए तो फिर क्या रखा है ज़माने में।
एक नजर देख ले हमे जीने की इजाजत दे दे,
ए रुठने वाले… वो पहली सी मोहब्बत दे दे।
पैगाम लिया है कभी पैगाम दिया है,
आँखों ने मोहब्बत में बड़ा काम किया है।