वो कहते हैं हम उनकी झूठी तारीफ़ करते हैं,
ऐ ख़ुदा एक दिन आईने को भी ज़ुबान दे दे।
मै तुम्हारी तारीफ के किस्से रोज लिखता हूँ.तेरी खूबसूरती बताने के लिए.एक किताब लिखता हूँ.
तारीफ में तुम कुछ यूँ फुल से गए.मानो खूबसूरती तुम्ही ने बिखेर दी हो सारी.
बड़ी खुबसूरत हो तुम.देख कर फ़िदा हो उठेऐसी सूरत हो तुम.
तेरे खुबसुरती पे तो लाखों मरते होंगे,
लेकिन हम तेरी बाते सुनने के लिए तड़पते हैं।
लफ्ज़ क्या बयां करेंगे खूबसूरती उनकी,
जिनके ज़िक्र से ही खूबसूरती बयां हो जाए।