आज का विचारएम्बुलेंस हो या बारात तुरंत उसे जाने का रास्ता दे|दोनों ही जिंदगी की जंग लड़ने जा रहे है...
परिश्रम वह चाबी है
जो सौभाग्य के द्वार खोलती है
अब तू नहीं है दुनिया में,
हु अकेला वही खड़ा,
तू मुमताज़ तो बन गयी
मै रह गया निचे पड़ा!
गुलाब को भी कमल बना देते,
उसकी एक अदा पे कई ग़ज़ल बना देते…
कम्भख्त मरती नहीं मुझ पर लडकियां,
वरना लखनऊ में भी ताजमहल बना देते…
हमसे ना कट सकेगा अंधेरो का ये सफर
अब शाम हो रही हे मेरा हाथ थाम लो।
Aap Jab Tak Rahenge Aankho Mein Najara Bankar,
Roj Aayenge Meri Duniya Mein Ujala Bankar.