हर रात मेरा नाम बोलकर सोया करो,
खिड़की खोल तकिया मोड़ कर सोया करो,
हम भी आयेंगे तुम्हारे ख्यालों में
इसलिए थोड़ी सी जगह छोड़ के सोया करो।
रात गुमसुम हैं मगर चाँद खामोश नहीं,कैसे कह दूँ फिर आज मुझे होश नहीं,ऐसे डूबा तेरी आँखों के गहराई में आज,हाथ में जाम हैं,मगर पिने का होश नहीं.
एक जैसे दोस्त सारे नही होते,कुछ हमारे होकर भी हमारे नहीं होते,आपसे दोस्ती करने के बाद महसूस हुआ,कौन कहता है ‘तारे ज़मीं पर’नहीं होते.
सो जाओ सो जाओ
मुझे Good Night कहे बिना सो जाओ
रात की रानी आएगी, धक्का देकर जाएगी
बिस्तर से आपको गिराएगी
फिर सारी नींद उड़ जाएगी
चाँद तारो से रात जगमगाने लगी,
फूलों की खुश्बू से दुनिया महकने लगी,
सो जाइये रात हो गयी है काफ़ी,
निंदिया रानी भी आपको देखने है आने लगी