प्यार मोहब्बत तो सभी करते हैं,
दर्द-ए -जुदाई से सभी डरते हैं,
हम न तुमसे प्यार करते हैं ना ही मोहब्बत,
हम तो बस तुम्हारी एक मुस्कराहट के लिए तरसते हैं।
एक आस, एक एहसास, मेरी सोच और बस तुम,एक सवाल, एक मजाल, तुम्हारा ख़याल और बस तुम,एक बात, एक शाम, तुम्हारा साथ और बस तुम,एक दुआ, एक फ़रियाद, तुम्हारी याद और बस तुम,मेरा जूनून, मेरा सुकून बस तुम और बस तुम
लाखों तूफान उठे है इस दिल में
तुजे देखने के बाद
काश
जुल्फों की काली घटाओं से ढक पाऊ
ये चाँद सा चेहरा तेरा
तेरे ख्याल से खुद को छुपा के देखा है,दिल-ओ-नजर को रुला-रुला के देखा है,तू नहीं तो कुछ भी नहीं है तेरी कसम,मैंने कुछ पल तुझे भुला के देखा है।
इश्क़ वही है जो हो एकतरफा हो
इज़हार-ऐ-इश्क़ तो ख्वाहिश बन जाती है
है अगर मोहब्बत तो आँखों में पढ़ लो ज़ुबान से इज़हार तो नुमाइश बन जाती है